उदयपुर। भारतीय टेलीविज़न ने दशकों में कई यादगार जासूसी किरदारों को जन्म दिया है, करमचंद की गाजर चबाती शैली से लेकर ब्योमकेश बक्शी की साहित्यिक गहराई तक। 1985 में आए करमचंद ने चुटीले संवादों और विचित्र अंदाज़ से जासूसी को मनोरंजन में बदला, जबकि 1993 में रजत कपूर द्वारा निभाया गया ब्योमकेश बक्शी आज भी रहस्य प्रेमियों के दिलों में बसा है। इसके बाद 1998 में सीआईडी ने एसीपी प्रद्युमन और दया जैसे किरदारों के साथ दो दशकों तक दर्शकों को थ्रिल और टीमवर्क से जोड़े रखा। 2004 में स्पेशल स्क्वॉड ने फॉरेंसिक और मनोविज्ञान को मिलाकर क्राइम ड्रामा को नई यथार्थता दी।
अब इसी परंपरा को आगे बढ़ाते हुए सोनी सब लेकर आ रहा है एक नया जासूसी ट्विस्ट — “एकेन बाबू”। बंगाली भाषा में बेहद लोकप्रिय यह शो अब हिंदी में डब होकर प्रसारित होने जा रहा है। एकेन्द्र सेन यानी एकेन बाबू (अनिर्बाण चक्रवर्ती) एक अजीबोगरीब, खाने के शौकीन और चतुर जासूस हैं, जिनकी सरल आदतों के पीछे छिपा है एक धारदार दिमाग। उनकी हास्यपूर्ण शैली पारंपरिक गंभीर जासूसों से बिल्कुल अलग है, और यही उन्हें खास बनाता है।
सोनी सब का यह नया शो रहस्य, बुद्धि और हास्य का ऐसा संगम पेश करेगा जो दर्शकों को याद दिलाएगा कि सबसे कठिन केस सुलझाने के लिए ट्रेंच कोट नहीं, बल्कि एक अनोखा दिमाग चाहिए। आठ वेब सीज़न और तीन फिल्मों की सफलता के बाद, एकेन बाबू अब हिंदी दर्शकों को मोहित करने आ रहे हैं — यह साबित करने कि सुरागों की दुनिया में अक्सर सबसे विचित्र दिमाग ही सच तक पहुँचते हैं।







